हर किचन कुछ कहता है (लॉकडाउन २.० ) नवाँ दिन

हम सब कभी ना कभी जरूर कुछ स्पेशल बनाने किचन में तो जाते ही है पर इस लॉकडाउन ने तो हर रोज़ ही स्पेशल बना दिया है ।

किसके किचन में नाश्ते में क्या पक रहा है या लंच में किसने क्या खाया या फिर डिनर में कौन क्या बनायेगा । अब लॉकडाउन से पहले तो ये हमें पता ही नहीं होता था पर लॉकडाउन के चलते आजकल रोज़ नई नई खाने की डिशेज देखने को मिल रहीं है ।


ऐसा नहीं है कि लोग पहले खाना नहीं बनाते थे पर अब खाना बनाने में एक अलग तरह का मजा आने लगा है क्योंकि हर रोज़ नाश्ता - खाना बनाने के बाद उसकी फ़ोटो खींचकर जब तक अपने कुछ वहाटसऐप ग्रुप पर ना डाली जाये तब तक मजा नहीं आता है ।


यूं तो सभी अच्छे कुक है पर आजकल सबकी पाक कला कुछ ज़्यादा ही उभर कर आ रही है । और इसका अब सबको पता भी चल रहा है वरना जब तक कोई किसी के घर ना जाये तब तक पता नहीं चलता था कि वो पाक कला में कितना निपुण है । 🤓



अब हमें ही देखिये किचन से दस फ़ीट की दूरी रखने वाले पर आजकल कुछ ना कुछ बना ही रहें है । और हम भी कुछ कुछ नया ट्राई करते रहतें है । कभी नाश्ते में जलेबी पकौड़ी तो कभी लंच मे बिरयानी तो कभी डिनर में खिचड़ी तैहरी । हँसिये मत खिचड़ी बनाने में ज़्यादा काम बढ़ता है ।😁



अब जैसे हमारी एक किटी फ़्रेंड है जो खाने और नाश्ते को इतनी ख़ूबसूरती से सजाती है कि कुछ पूछिये मत , तो वहीं एक उड़िया फ़्रेंड है जो उड़ीसा की पारम्परिक खाने की चीज़ें बनाकर तो कभी पुरी में मिलने वाला महाप्रसाद बनाकर फ़ोटो लगाती रहती है । तो वहीं एक हमारी किटी फ़्रेंड पंजाबी है तो वो चटपटे छोले भटूरे बनाकर उस की फ़ोटो खींचकर ग्रुप पर लगाती है ।



वहीं एक फ़्रेंड उपमा ,इडली दोसा बनाकर फ़ोटो लगाती है तो वहीं एक फ़्रेंड बाक़ायदा पूरी व्यंजनों से भरी थाली बनाकर सजाकर उसकी फ़ोटो शेयर करती है । तो कभी कोई पासता बनाती है और फ़ोटो खींचकर लगाती है ।



और हमारे स्कूल ग्रुप का तो कहना ही क्या । एक जलेबी बानायेगा तो बाक़ी लोग भी जलेबी बनाते है । कोई गोलगप्पे बनायेगा तो हम सब भी गोलगप्पे बनाने लगते है । मतलब हम सब एक दूसरे को देखकर सीखकर कुछ कुछ बनाते ही रहते है ( वही सकूल की पुरानी आदत ) । यहाँ भी एक से बढ़कर एक कुक है । कभी कोई टेस्टी गुलाब जामुन बनाती है तो कभी कोई पापड़ और लड्डू बनाती है तो कभी कोई अरबी के पत्ते की पकौड़ी बनाती है । तो कोई स्वादिष्ट चाट बनाती है ।




और हमारे फ़ैमिली ग्रुप का पूछिये ही मत । हमारी जिजजी लोग तो खैर लाजवाब कुक है और हर रोज़ वो कोई ना कोई बढ़िया सी डिश बनाती है और ग्रुप पर शेयर करती रहती है । कभी कोई निशासता तो कभी कोई मलाई कोफ़्ता तो कभी कोई केक बनाती रहती है । चाट और इडली दोसा तो अब हर ग्रुप में बड़ीं आम सी बात हो गई है । 😜


और हमारे कज़िन का भी एक ग्रुप है जहाँ कौन क्या बना रहा है इसमें एक तरह से मस्ती भरा खाना बनाने का कॉमपटीशन सा चलता रहता है । एक कढ़ी चावल बनायेगा तो अगले दिन दूसरा बनायेगा ,एक बेक्ड बनायेगा तो अगला भी ऐसा ही कुछ बनायेगा । एक बार तो तीन लोगों ने बिरयानी ही बना ली । 😝


हमारी भांजियाँ और भतीजियां भी कुछ कम नहीं है । अकसर नई नई वैराइटी का खाना बनाती रहती है । कभी मोमो तो कभी शाही टेस्ट तो कभी उत्तपम ।


इतना सब कुछ बताने का मक़सद ये है कि इस लॉकडाउन नें सबको खाना बनाने में पारंगत कर दिया है । और इस बात का पता हर रोज़ सबकी खाने की नई नई डिशेज देखकर हो रहा है । अलग अलग प्रान्तों के व्यंजन देखने को मिल रहें है ।


क्यूँ सच है ना कि हर किचन कुछ कहता है । 👍👍😋













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