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Showing posts from 2008

बच्चे मन के सच्चे ....

आज बाल दिवस के मौके पर कुछ ऐसे गीत सुनिए जो हमें बहुत पसंद है और इन्हे सुनकर एक बार फ़िर से उसी बचपन मे लौट जाइए क्यूंकि वो कहते है न कि हर इंसान के अन्दर एक बच्चा रहता है । :) वैसे भी आज के भागते -दौड़ते समय मे इस तरह के गीत अब कम ही सुनाई देते है । Powered by eSnips.com

मुंबई को नजर लग गई है ...

मुंबई जिसे महानगरी , मायानगरी , सपनों की नगरी और न जाने क्या - क्या कहा जाता रहा है जहाँ धर्म - जाति या प्रांत के लिए नही बल्कि व्यक्ति को उसके नाम और काम से जाना जाता रहा है । पर अब ऐसा नही है अब व्यक्ति को उसके नाम और गाँव के नाम से जाना जा रहा है । जनवरी २००८ की शुरुआत से ही मुंबई मे कुछ न कुछ ऐसा घटता चला आ रहा है जिसे देख और पढ़ कर लगता है कि मुंबई को नजर लग गई है । अब इस प्रदेश की लड़ाई को ही देख लीजिये धीरे - धीरे कितना विकराल रूप लेती जा रही है । मुंबई जहाँ के लिए कहा जाता रहा है कि वहां धर्म - जात - प्रदेश को महत्त्व नही दिया जाता है अब उसी मुंबई मे इन्ही सब बातों के लिए लोगों को मारा - पीटा जाता है । कुछ दिन पहले शुरू हुई प्रदेश की लड़ाई भी अब दिनों दिन बढती ही जा रही है । चंद रोज पहले railways की परीक्षा देने गए छात्रों के साथ जो कुछ हुआ उस के बारे मे तो हम सभी जान गए है कि किस बुरी तरह से छात्रों क

दीपावली की हार्दिक बधाई और शुभकामनाएं

दीपक का प्रकाश हर पल आपके और आपके परिवार के जीवन मे एक नई रौशनी दे बस यही कामना है हमारी दीपावली की शुभकामनाओं के साथ आइये इस शुभ अवसर पर कुछ गीत भी सुनते चले । Powered by eSnips.com

चलता-फिरता ATM

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काफ़ी दिन पहले न्यूज़ जरुर पढ़ी थी कि मोबाइल ATM उद्घाटन के बारे में पर सोचा नही था कि ऐसा हो भी सकता है . हमने तो इससे पहले चलता - फिरता ATM नही देखा था पर अभी ३-४ दिन पहले हम बेटे के साथ कहीं घूमने जा रहे थे तभी SBI की इस मोबाइल ATM वैन को देखा और बिना समय गवाएं हुए हमने फोटो खींच ली ।(अपने सैल फ़ोन से ) :) और दूसरे बैंक के भी मोबाइल ATM चलते है या नही ये पता नही पर ऐसा लगता है की इसमें सबसे पहला नंबर SBI का ही है । और हो सकता है की SBI की देखा-देखी दूसरे बैंक भी मोबाइल ATM की शुरुआत करेंगे । अब ATM कार्ड तो हर बैंक अपने कस्टमर को देता ही है फ़िर वो चाहे शहर में रहने वाला हो या गाँव में रहने वाला हो । इस मोबाइल ATM के आने के बाद तो लोगों को और भी आराम हो जायेगा क्यूंकि जहाँ तक हमारा ख़्याल है की इस तरह की मोबाइल ATM वैन की शुरुआत इसी लिए की गई होगी । अब मोबाइल ATM की बदौलत गाँव वाले भी बैंक की लम्बी लाइन में लगने की बजाय ATM से पैसा निकाल कर अपना समय बचा सकते है । क्यूँ है न अच्छी बात ।

क्या करें लगता है हम भी लो फेज मे आ गए है .... :(

जब तक हम दिल्ली मे थे उस दौरान तो हमने बहुत ही कम लिखा था पर गोवा आने के बाद सोचा था कि अब पहले की तरह ही रोज लिखा करेंगे पर पता नही जब भी लिखने चलते है तो जैसे दिमाग बिल्कुल खाली सा लगता है (है या नही पता नही ) तो कुछ आधी-अधूरी पोस्ट लिख कर छोड़ देते है . तो कभी कुछ ब्लॉग पोस्ट पढ़कर या कभी-कभी बस ब्लौगवाणी को स्क्रोल करके देख लेते है और कम्पूटर बंद कर देते है । पिछले १०-१२ दिन बेटा आया हुआ था तो घूमने-फिरने मे लगे थे पर कल बेटा वापिस चला गया और कल शाम से भी कई बार पोस्ट लिखने की सोची पर फ़िर न जाने क्यूँ मन ही नही हुआ । ऐसा नही है कि विषयों की कमी हो गई है इतना कुछ है लिखने के लिए पर बस लिखते समय मन उचट जाता है । अब इस ८ लाइन की पोस्ट लिखने मे ही आधे घंटे से ज्यादा लगा दिया तो आप समझ ही सकते है । और आज से हम कोशिश करने वाले है कि पहले की तरह ही हम अपने ब्लॉग पर लिखना शुरू कर दे । :)

गोवा का मखरोत्सव ( आरती )

वैसे हम ३- ४ दिन पहले ये पोस्ट लिखने वाले थे पर लिख नही पाये क्यूंकि हमारा बेटा छुट्टियों मे घर आया हुआ है । और अब वैसे तो नवरात्र और दशहरा ख़त्म हो गया है पर फ़िर भी हमने सोचा कि इस मखरोत्सव आरती की बात कर ही ली जाए क्यूंकि ये आरती कुछ अलग तरह से होती है । गोवा के मंदिरों मे नवरात्रों के नौ दिन तक ये मखरोत्सव मनाया जाता है । और जगहों का तो पता नही पर हमने यहाँ पर ही इस तरह की आरती देखी है ।(पिछले ३ साल से ) मखर यानी की लकड़ी का बना हुआ मन्दिर जिसमे हर रोज एक नए देवी या देवता को बैठाया जाता है । इस मखर को खूब सजाया जाता है । और फ़िर उस देवी - देवता की आरती की जाती है । खैर अष्टमी के दिन हम लोग भी इस आरती को देखने के लिए महालसा मन्दिर गए थे । आरती रात मे नौ -साढ़े नौ के आस-पास शुरू होती है ।और ये आरती तकरीबन एक घंटे तक चलती है। और यहाँ पर एक तरफ महिलायें और दूसरी तरफ पुरूष बैठते है । आरती शुरू होने के पहले वहां पर प्रवचन होता है और फ़िर ढोल शहनाई और ताशे के साथ आरती शुरू होती है । मन्दिर मे तो लोग बहुत पहले पहुँच कर बैठ जाते है क्यूंकि बाद मे जगह

गोवा मे गुजरात का गरबा और डांडिया

नवरात्रों मे गरबा और डांडिया खेलने के बारे मे सुना तो बहुत था ( गुजरात का गरबा और डांडिया तो पूरी दुनिया मे मशहूर है ) पर देखा यहाँ गोवा मे आकर ही । दिल्ली मे तो जगहों की दूरी की वजह से डांडिया वगैरा देखने कभी गए ही नही । पर यहाँ गोवा मे पहली बार गरबा और डांडिया देखा वरना इससे पहले तो सिर्फ़ टी . वी . और फिल्मों मे ही देखा था । :) गोवा मे मीरामार पर स्थित gasper dias club मे गुजराती समाज ने इसे आयोजित किया है . वहां पहुंचकर लगता है मानो गोवा मे नही बल्कि एक छोटे से गुजरात मे आ गए हो जहाँ कुछ लड़कियां और औरतें पारंपरिक वेश - भूषा मे ( और पूरे श्रृंगार के साथ ) तो कुछ सलवार - कुरता पहने तो कुछ साड़ी पहने दिखती है । लड़के भी कुछ तो पारंपरिक वेश - भूषा तो कुछ कुरता - पैजामा वगैरा मे सजे - धजे घूमते और डांडिया खेलते नजर आते है । वैसे रात ९ बजे से गरबा और डांडिया शुरू होता है । वैसे गरबा तो १० बजे के आस - पास ही श

कोई बताये कि आख़िर न्यूज़ के लिंक लगाने मे क्या गड़बड़ हो रही है ?

एक बार पहले भी हमने एक न्यूज़ के साथ लिंक लगाने की कोशिश की थी पर सबने टिप्पणी की कि न्यूज़ के लिए दिया गया लिंक नही खुल रहा है और आज भी हमने पोस्ट पर लिंक लगाया तो सीमा जी कि टिप्पणी मिली कि लिंक नही खुल रहा है तो हमने भी जब कई बार चेक किया तो देखा वो लिंक भी नही खुल रहा है ।तब से कई बार कोशिश कर चुके पर असफल रहे . आख़िर क्या वजह हो सकती है जबकि पहले तो जब भी गूगल के लिंक देते थे तो वो खुल जाते थे और न्यूज़ पढ़ी जाती थी। तो अब क्या हो गया है। वैसे अभी हाल मे ही ये प्रॉब्लम शुरू हुई है । कोई हल बताइये। नोट -- ज्ञान जी और सीमा जी हमने अब पूरी न्यूज़ लिख दी है । :)

घर को भी अब लिफ्ट करा ले ...

आपने अदनान सामी का वो गाना तो सुना ही है जिसमे वो मुझको भी तू लिफ्ट करा दे गाते थे । खैर अदनान के गाये गाने को अब बदले हुए अंदाज मे कहा जा सकता है । माने मुझको भी तू लिफ्ट करा दे की जगह घर को भी अब लिफ्ट करा ले कह सकते है । कैसे वो ऐसे कि २-३ दिन पहले न्यूज़ फ्लैश देखा था कि लिफ्ट हुआ बंगला पर न्यूज़ पूरी नही देखी थी । कल अखबार मे ये ख़बर देखी और बरबस अदनान सामी का गाना याद आ गया । तो ख़बर ये है कि सतन पाल जो कि हरियाणा पुलिस मे हेड कांस्टेबल है उनके दोमंजिला घर को ११.३ फीट जमीन से ऊपर लिफ्ट कर दिया गया है और ये काम सिर्फ़ ३५-४० दिन मे पूरा किया गया है । किसने और कैसे किया है इसके लिए पढिये । सीमा जी और ज्ञान जी की टिप्पणी पढने के बाद हमने सोचा की जब लिंक नही खुल रहा है तो हम ही पूरी ख़बर लिख देते है । :) गुडगाँव के सतन पाल जी ने अपना घर १० साल पहले बनवाया था और पिछले १० सालों मे सड़क निर्माण की वजह से उनके घर का लेवल नीचा होता गया जबकि सड़क का लेवल ऊपर उठता गया जिससे उनके घर मे जब तब पानी भर जाता

TIATR ( तिअत्र ) कुछ अलग है

ये शब्द पढने और सुनने मे कुछ अजीब सा लग रहा है पर असल मे ऐसा कुछ नही है ।वैसे इसका सही उच्चारण भी अभी तक ठीक से क्या है हमें पता नही है क्यूंकि कोई तिअत्र तो कोई तिअतर तो कोई तियत्र कहता है । खैर नाम मे न उलझ कर कुछ इसके बारे मे बताते है । गोवा मे tiatr १०० साल से होता चला आ रहा है । tiatr के लिए कहा जाता है कि इसे बहुत अधिक loud होना चाहिए । इसकी सबसे बड़ी खासियत ये है कि इसमे जो भी कहानी होती है वो गोवा के लोगों की जिंदगी पर आधारित होती है वो चाहे राजनीति हो या फ़िर कोई सोशल मुद्दा हो , पुलिस हो या चाहे आम आदमी की जिंदगी ।हर दर्शक कहानी से अपने आप को identify कर सकता है । इसमे सटायर भी खूब होता है ।और इसमे संदेश भी होता है । यहाँ के लोगों का कहना है कि ये आम नाटकों ( ड्रामा और थिएटर ) से थोड़ा अलग है । हालाँकि अब इस tiatr मे हिंदू कलाकार भी भाग लेने लगे है पर ऐसा कहते है कि शुरूआती दौर मे ज्यादातर कैथोलिक ही इसमे भाग लेते थे क्यूंकि इसमे saxtti ( कोंकणी ) भाष ा का इस्तेमाल किया जाता है जिसे साउथ goa मे बोला जाता है और

गाँधी जयंती और ईद के मुबारक मौके पर

२ अक्तूबर के दिन २ महान शख्सियत का जन्म हुआ था महात्मा गांधी और लाल बहादुर शास्त्री जी का । गाँधी जी ने अहिंसा का तो शास्त्री जी ने जय जवान जय किसान का नारा दिया । और इस बार २ अक्तूबर को ईद का मुबारक दिन भी है तो आप सभी को ईद मुबारक । तो कुछ गीत सुन लिए जाए । Powered by eSnips.com

कोयल और कौवे की अनोखी जुगलबंदी :)

हमारी ये पोस्ट कुछ - कुछ फुरसतिया जी से प्रेरित है । यहाँ गोवा मे चूँकि हरियाली बहुत है और हमारे घर मे भी पेड़ - पौधे बहुत है तो यहाँ पर कौवे और कोयल दोनों ही बहुत दिखते है । वैसे आम तौर पर माना जाता है कि कोयल दिखाई नही देती है और वो छुप कर बोलती है । पर यहाँ पर कोयल अक्सर बोलती हुई दिखाई दे जाती है । आज सुबह जब कोयल और कौवे की आवाज सुनी तो वीडियो बनाया और एक पोस्ट के रूप मे ये कुछ अलग सी जुगलबंदी आप लोगों के लिए पेश है । और कौवे तो गोवा मे इतने अधिक है कि अगर आप ढलती हुई शाम को किसी पेड़ के नीचे से गुजरे तो सिर का ध्यान रखना पड़ता है वरना कौवे जी का प्रसाद मिल जाता है । :) यहाँ तो हम रोज सुबह ( करीब साढ़े आठ से नौ के बीच मे ) कौंवों को कुछ न कुछ खाने को जरुर डालते है पहले तो २ - ४ कौवे आते थे पर अब जैसे ही हम बालकनी मे जाते है और रोटी के टुकड़े डालना शुरू करते है कि हर तरफ़ से कौवे उड़ - उड़ कर आ जात

अब जरदारी का क्या होगा ?

कल ज्ञान जी ने अपनी पोस्ट मे जरदारी और पालिन का जिक्र किया और पी फैक्टर के बारे मे भी जिक्र किया था पर देखिए आज जरदारी के ख़िलाफ़ फतवा जारी हो गया । अब बेचारे जरदारी करें तो क्या करें । लाहौर की लाल मस्जिद के मौलाना अब्दुल गफ्फार ने जरदारी की इस तरह की बात को गैर इस्लामिक कहा है और साथ ही ये भी कहा है कि पाकिस्तान जैसे मुस्लिम देश के लिए ये शर्मनाक बात है । जिसमे जरदारी ने पालिन को gorgeous तो कहा ही साथ ये भी कह दिया कि अब उन्हें समझ आया कि सारा अमेरिका पालिन का दीवाना क्यूँ है । अब यही पर जरदारी रुक गए होते तो कुछ गड़बड़ नही होती पर जरदारी पालिन से कुछ अधिक ही प्रभावित हो गए थे इसीलिए तो उन्होंने पालिन से हाथ मिलाते हुए ये भी कह दिया कि (If he's (the aide) insisting, I might hug . ) अब देखें जरदारी के ख़िलाफ़ जारी किया गया फतवा वापिस लिया जाता है या नही ।

आज से नवरात्रि शुरू

कल पितृ पक्ष के समापन के साथ आज से नवरात्र की शुरुआत हो रही है । तो इस पहले दिन की शुरुआत क्यूँ न माँ की स्तुति से की जाए । नवरात्र के साथ कितनी बातें याद आ जाती है जैसे कहीं नौ दिन तक लोग व्रत करते है तो कहीं डांडिया रास ( गुजरात ) खेलते है तो कहीं नवरात्र मे चौकी निकालने का चलन है ( इलाहाबाद मे ) कहीं घर मे कलश मे जाऊ के बीज डाले जाते है और नौवें दिन हवन किया जाता है तो कहीं नौवें दिन कन्या पूजी जाती है और कहीं दुर्गा पूजा के ( कोलकता ) बड़े - बड़े मंडप सजते है । तो आप भी इन नौ दिन यानी नवरात्रों का आनंद उठाइए व्रत करिए डांडिया रास करिए । :) Powered by eSnips.com

वेलकम टू सज्जनपुर -- एक फ़िल्म समीक्षा

कल हमने ये फ़िल्म देखी और हमे अच्छी भी बहुत लगी तो सोचा कि आज इसी के बारे मे बात कर ली जाए । श्याम बेनेगल ने इस फ़िल्म को बनाया है । अब श्याम बेनेगल को तो आम तौर पर लोग बहुत ही संजीदा सिनेमा के लिए जानते है जैसे मंथन , अंकुर , भूमिका जैसी फिल्में उन्होंने बनाई है । पर ये वेलकम टू सज्जनपुर उन सभी फिल्मों से अलग फ़िल्म है । इस फ़िल्म को कॉमेडी फ़िल्म कहना ग़लत है बल्कि इस फ़िल्म को सटायर विथ कॉमेडी कहना ज्यादा उचित होगा । इस फ़िल्म की कहानी एक छोटे से गाँव सज्जनपुर की है । और यहाँ रहने वाले लोगों जैसे महादेव कुशवाहा जो की एक पढालिखा नवजवान है और जो लेखक बनते - बनते गाँव वालों की चिट्ठी लिखने वाला बन जाता है । तो वहीं कमला है जो अपने पति का इंतजार कर रही है । और इसी गाँव की एक मौसी है जो अपनी बेटी की शादी के लिए परेशान है ( किस तरह वो हम नही बता रहे है ) तो इसी गाँव का गुंडा अपनी बीबी को चुनाव मे खड़ा

टीम इंडिया,ग्रेग चैपल और ऑस्ट्रेलिया

आजकल ऑस्ट्रेलिया की क्रिकेट टीम भारत मे टेस्ट मैच खेलने के लिए आई हुई है और सबसे अजीब बात ये है की ऑस्ट्रेलिया की टीम के असिस्टेंट कोच और कोई नही गुरु ग्रेग ही है । गुरु ग्रेग ने टीम इंडिया का जो हाल किया था उससे तो हम सभी वाकिफ है पर इस बार ऑस्ट्रेलिया की टीम के साथ गुरु ग्रेग को देख कर बड़ा ही अजीब लगा और हमारी भारतीय संस्कृति भी कितनी दिलदार है कि जिस ग्रेग ने टीम इंडिया का बेडा गर्क किया उसी का तिलक लगा कर स्वागत कर रहे है । यूँ तो आई . पी . एल . के दौरान भी गुरु ग्रेग दिखाई दिए थे । पर इस बार की बात कुछ अलग है । वैसे एक बात है जब भी ऑस्ट्रेलिया की क्रिकेट टीम भारत दौरे पर आती है वहां का मीडिया कभी टीम इंडिया के खिलाडी तो कभी सेलेक्शन तो कभी सेलेक्टर्स को लेकर काफ़ी कुछ लिखना शुरू कर देता है।कुछ -कुछ divide and rule वाले formule पर आधारित । जैसे आज ही अखबार मे ख़बर छपी है कि कुंबले को धोनी को टेस्ट की कप्तानी सौंप देनी चाहिए ।क्यूंकि धोनी हर तरह के खेल की जिम्मेदारी उठाने मे सक्षम है ।अरे अभी तो टेस्ट मैच शुरू भी नही हुआ और उन लोगों ने अपनी पारी खेलन

आइये मिलिए कर्नल कपिल देव से

जी हाँ १९८३ कि विश्व कप विजेता भारतीय क्रिकेट टीम के कप्तान कपिल देव अब territorial army के लेफ्टिनेंट कर्नल बन गए है । अगर आपने ये ख़बर नही पढ़ी है तो पूरी ख़बर यहाँ पर पढ़िये।

दिल्ली से गोवा वापसी का सफर jetlite से

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करीब ढाई महीने दिल्ली रहकर पिछले शनिवार वापिस गोवा आ गए । वैसे इस बार दिल्ली से गोवा का हवाई सफर भी जरा सफ्फरी मामला रहा । :) कैसे ? अरे बताते है ना । हर बार की तरह इस बार भी हमने jetlite की फ्लाईट बुक की थी पर इस बार का jetlite का अनुभव हर बार की तरह का नही था । एयर पोर्ट पर पहुँच कर जब चेक इन करने के लिए गए तो काउन्टर पर बैठी लड़की ने हमसे पूछा कि कौन सी सीट लेना पसंद करेंगे तो हमने विण्डो सीट कहा । और जब प्लेन मे पहुंचे तो विण्डो सीट को देख कर समझ नही आया कि आख़िर उसने प्लेन मे सीट का ऑप्शन पूछा ही क्यूँ था। असल मे हुआ ये थे कि हमे A 10 सीट मिली थी जहाँ पर खिड़की थी ही नही। वैसे वहां इमरजेंसी एग्जिट भी नही लिखा था । तो सबसे पहले तो एयर होस्टेस को बुलाकर सीट बदलने के लिए कहा तो उसने कहा कि जब फ्लाईट टेक ऑफ़ करने लगेगी माने जब बोर्डिंग बंद हो जायेगी तब वो हमारी सीट change कर देगी । और जैसे ही प्लेन का दरवाजा बंद हुआ तो उसने हमें आगे की लाइन जो की पूरी खाली थी उस सीट पर शिफ्ट होने को क हा । तो इस तरह सीट का मसला तो हल हो गया । अब जब जून मे हम गोवा से दिल्ली

इलाहाबाद यात्रा की यादें (६ )प्रयाग राज एक्सप्रेस से वापिस दिल्ली का सफर

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एक हफ्ते इलाहाबाद मे रहकर २९ अगस्त को हम इलाहाबाद से वापिस दिल्ली के लिए प्रयाग राज एक्सप्रेस जो रात ९.३० बजे चल कर सुबह ६.५० पर दिल्ली पहुँचती है उस से चले पर इस बार भी रास्ते मे कुछ न कुछ तो होना ही था । :) जब हम ट्रेन मे अपने कोच A-3 मे अपनी सीट पर पहुंचे तो देखा कि हमारी आधी से ज्यादा सीट पर खूब सारा सामान रखा है बैग और सूट केस वगैरा और नीचे जहाँ सामान रखते है वहां भी जगह खाली नही थी। गनीमत है कि हमारे पास एक छोटी सी अटैची और एक बैग ही था।तो सामने वाली बर्थ पर बैठी हुई महिला से पूछा कि क्या ये आपका सामान है तो उसने इनकार कि या तभी एक और सज्जन ने लपक कर बताया कि ये उनका सामान है और चूँकि वो ५-६ लोग एक साथ है और सबकी सीट अलग-अलग है इसलिए यहाँ पर सबका सामान एक साथ रख दिया है । ये सुनकर खीज तो बहुत हुई पर फ़िर कुली से कहा कि इसे किसी तरह नीचे रख दो। जैसे ही ट्रेन चलने को हुई कि उस ग्रुप मे से एक सज्जन खाने का एक पैकेट लेकर आए और उ से भी उसी सामान पर रख कर चला गए । ट्रेन ठीक समय ९.३० पर चल दी और ट्रेन चलने के १० मिनट बाद उस ग्रुप मे से एक सज्जन आए और खाने का पैकेट ले जात

अरे ओ साम्भा हम सब बच गए :)

ओफ हो पिछले एक हफ्ते से हर चैनल और यहाँ तक की अखबारें मे भी तरह-तरह की खबरें देखने और पढने को मिल रही थी । टी.वी.चैनल वालों ने तो प्रलय अरे नही- नही महाप्रलय ही ला दी थी।कि बुधवार को दुनिया मे प्रलय आ जायेगी और दुनिया नष्ट हो जायेगी । महाप्रलय की न्यूज़ के साथ-साथ यही न्यूज़ वाले ज्योतिषियों को भी लेकर आ गए थे कि कौन सी राशि वालों को क्या करना चाहिए ।कैसे अपना बचाव करे।क्या दान करें। और किस ग्रह -नक्षत्र का किस राशि का पर क्या असर पड़ेगा वगैरा-वगैरा। पर परसों रात मे अचानक स्टार न्यूज़ ने इस संभावित महाप्रलय को महाप्रयोग कहना शुरू किया और दीपक चौरसिया वही आज तक वाले ने ( अरे आपको पता नही कि दीपक अब आज तक पर नही बल्कि स्टार न्यूज़ पर दिखते है . :) ) लोगों को समझाना शुरू किया कि इससे घबराएं नही ये एक महा प्रयोग है वगैरा-वगैरा। और ये भी कि इस प्रयोग से जुड़ी खबरें वो और उनका चैनल लोगों तक पहुंचाते रहेंगे । अब सबसे तेज चैनल से आपको रक्खे आगे वाले चैनल मे जो आ गए है। :) अरे भइया जब प्रलय आएगी तो न्यूज़ चैनल कौन देख रहा होगा। और जब प्रलय आनी होगी तो भला कौ